तरनतारन, 12 सितंबर . पंजाब की तरनतारन अदालत ने Friday को खडौर साहिब से आम आदमी पार्टी (आप) के विधायक मनजिंदर सिंह लालपुरा को चार साल की सजा सुनाई है. उन्हें यह सजा दलित महिला से मारपीट और छेड़छाड़ के 12 साल पुराने मामले में सुनाई गई है. यह घटना 3 मार्च 2013 की है, जब लालपुरा एक टैक्सी ड्राइवर हुआ करते थे.
अदालत ने 10 सितंबर को उन्हें दोषी ठहराया था. इस मामले में दोषी ठहराए गए 12 आरोपियों में से एक की मौत हो चुकी है, जबकि आठ गिरफ्तार किए गए थे.
एससी समुदाय की महिला हरबिंदर कौर उस्मा 2013 में तरनतारन के गोइंदवाल रोड स्थित एक विवाह स्थल पर अपनी बहन के विवाह समारोह में शामिल होने के लिए गई थी.
आरोप है कि विवाह स्थल पर पहुंचे टैक्सी ड्राइवरों के समूह, जिसमें लालपुरा मुख्य आरोपी थे, ने जगह खाली न करने पर विवाद किया. इसके बाद तरनतारन पुलिस की टीम मौके पर पहुंची, लेकिन उन्होंने भी पीड़िता और उसके परिवार पर लाठियां बरसाईं.
वीडियो वायरल होने के बाद Supreme court ने स्वत: संज्ञान लेते हुए पीड़िता, उनकी चचेरी बहन (गवाह) और परिवार को अर्धसैनिक बलों की सुरक्षा प्रदान की थी.
पुलिस ने मामला आईपीसी की धारा 354 (महिला की गरिमा भंग करने के इरादे से हमला), 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाना), 506 (आपराधिक धमकी), 148 (हथियारबंद दंगा) के अलावा एससी/एसटी एक्ट के तहत दर्ज कर लिया.
पीड़िता के वकील अमित धवन ने पत्रकारों को बताया कि सजा के बाद लालपुरा को पट्टी उप-जेल भेज दिया गया है. उन्होंने कहा, “पीड़िता 13 साल से न्याय की लड़ाई लड़ रही थी. इस दौरान उन्हें मौत की धमकियां भी मिलीं. आज उसे न्याय मिला है.”
पीड़ित महिला हरबिंदर कौर ने कहा, “मैं खुश हूं कि न्याय हुआ. उम्मीद है कि दोषी को सख्त सजा मिलेगी ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों.” कोर्ट के इस फैसले के बाद लालपुरा की विधायकी पर संकट मंडरा रहा है.
दरअसल, दो साल से अधिक सजा पर सदस्यता समाप्त हो सकती है. 2022 चुनाव में उन्होंने कांग्रेस के रमनजीत सिंह सिक्का को 16,491 वोटों से हराया था. उनके खिलाफ पहले से पांच आपराधिक मामले दर्ज हैं.
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एससीएच/वीसी