New Delhi, 6 अगस्त . भारतीय रेलवे ने यात्रियों की सुरक्षा को बढ़ाने के लिए अब तक विभिन्न जोनों के 11,535 कोचों में cctv कैमरे लगाए हैं, यह जानकारी Government द्वारा Wednesday को संसद में दी गई.
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के अनुसार, लगभग 74,000 कोचों और 15,000 इंजनों में cctv कैमरे लगाए जाएंगे.
Lok Sabha में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में Union Minister ने कहा, “प्रत्येक कोच में चार cctv कैमरे लगाए जाएंगे, जिसमें हर प्रवेश द्वार पर दो कैमरे होंगे. वहीं, इंजन में छह cctv कैमरे होंगे, जिसमें इंजन के आगे, पीछे और दोनों तरफ एक-एक कैमरा और प्रत्येक केबिन में एक कैमरा, साथ ही डेस्क पर लगे दो माइक्रोफोन भी होंगे.”
cctv कैमरे एसटीक्यूसी (मानकीकरण परीक्षण और गुणवत्ता प्रमाणन) निदेशालय द्वारा प्रमाणित होंगे और नवीनतम अनुसंधान डिजाइन एवं मानक संगठन (आरडीएसओ) के विनिर्देशों के अनुसार होंगे. ये कैमरे 100 किमी प्रति घंटे या उससे अधिक की गति से चलने वाली ट्रेनों के लिए भी उच्च-गुणवत्ता वाली फुटेज प्रदान करेंगे.
Union Minister ने कहा, “टेक्नोलॉजी अपग्रेड एक सतत प्रयास है, जिसमें रियल-टाइम मॉनिटरिंग क्षमता और एआई एकीकरण पर भविष्य में कार्यान्वयन के लिए विचार किया जा रहा है. cctv कैमरे लगाने से यात्रियों की गोपनीयता से समझौता नहीं होगा क्योंकि डिब्बों में cctv कैमरे दरवाजों के पास सामान्य आवागमन क्षेत्र में लगाए जाएंगे.”
cctv कैमरे लगाने का उद्देश्य यात्रियों की सुरक्षा में सुधार करना है. इस कदम से बदमाशों की गतिविधियों, तोड़फोड़, चोरी में कमी आने, अपराध पर अंकुश लगाने और जांच में सहायता मिलने की उम्मीद है.
संसद में एक अलग प्रश्न के उत्तर में, Union Minister ने कहा कि अनारक्षित डिब्बों में यात्रा करने वाले यात्रियों की मांग को पूरा करने के उद्देश्य से, रेलवे ने सामान्य श्रेणी में यात्रा करने वाले यात्रियों के लिए सुविधाओं में काफी वृद्धि की है.
वैष्णव ने कहा, “पिछले वित्तीय वर्ष 2024-25 के दौरान ही विभिन्न लंबी दूरी की ट्रेनों में 1,250 जनरल कोचों का उपयोग किया गया है. निम्न और मध्यम आय वर्ग के परिवारों की यात्रा संबंधी जरूरतों को पूरा करने के लिए, भारतीय रेलवे अगले 5 वर्षों में 17,000 नॉन-एसी कोच (जनरल/स्लीपर) मैन्युफैक्चर करेगा.”
-
एबीएस