मंडी, 29 जुलाई . Himachal Pradesh के Chief Minister सुखविंदर सिंह सुक्खू कार्यालय की ओर से Tuesday को मंडी जिले में बादल फटने से हुई लोगों की मौत पर दुख जताया है. उन्होंने social media पर पोस्ट करके इस हादसे के संबंध में दुख जाहिर किया है.
Chief Minister कार्यालय की ओर से कहा गया, “जिला मंडी के जेल रोड में बादल फटने की घटना अत्यंत दुःखद और पीड़ादायक है. इसमें दो लोगों की मृत्यु हो गई है और एक व्यक्ति के लापता होने की सूचना है, जिसकी तलाश के लिए बचाव दल युद्धस्तर पर प्रयासरत हैं. कई वाहन भी मलबे में दब गए हैं.”
कार्यालय की ओर से आगे कहा गया, “शोक-संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहन संवेदनाएं हैं. प्रशासन पूरी तरह से मुस्तैद है. राहत एवं बचाव कार्यों को तेजी से संचालित करने के निर्देश दिए गए हैं. मैं स्वयं स्थिति की लगातार निगरानी कर रहा हूं और सभी आवश्यक सहायता तुरंत उपलब्ध कराई जा रही है.”
सीएमओ की ओर से कहा गया, “राहत कार्यों में जुटे स्थानीय लोगों का भी मैं आभार व्यक्त करता हूं. प्रदेश Government इस कठिन समय में प्रभावित लोगों के साथ मज़बूती से खड़ी है. मैं आप सभी से आग्रह करता हूं कि प्रशासन द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन करें और सतर्क रहें.”
बता दें कि Monday रात से Himachal Pradesh के कई इलाकों में लगातार बारिश हो रही है. मंडी में भी भारी बारिश के कारण नदी-नाले उफान पर हैं. इसी बीच फ्लैश फ्लड की घटना हुई. फिलहाल जिला प्रशासन की टीमें मौके पर मौजूद हैं. राहत एवं बचाव कार्य जारी है.
जानकारी के मुताबिक, मंडी के जेल रोड इलाके में अपनी गाड़ियों को निकालने के लिए कुछ लोग नाले के पास पहुंचे थे. इसी दौरान वे फ्लैश फ्लड की चपेट में आ गए. दो लोगों के शवों को निकाला जा चुका है, जबकि एक व्यक्ति का शव गाड़ियों के बीच फंसे होने की संभावना है.
तस्वीरों में नजर आया कि सड़कों पर पानी और मलबा दरिया की तरह बह रहा है. मंडी में मूसलधार बारिश के चलते कई हिस्सों में बाढ़ जैसे हालात हैं. जेल रोड इलाके में पहाड़ों से पानी के साथ गाद और कीचड़ जैसा मलबा नीचे आया, जिसमें दर्जनों गाड़ियां क्षतिग्रस्त हो गईं.
मूसलाधार बारिश Monday रात करीब 11 बजे शुरू हुई और सुबह 4 बजे तक तेज हो गई, जिससे बुनियादी ढांचे को भारी नुकसान पहुंचा. बताया जाता है कि सबसे ज्यादा प्रभावित इलाकों में से एक मंडी का जोनल अस्पताल है, जहां नाले ओवरफ्लो होने के कारण परिसर में पानी भर गया.
फ्लैश फ्लड और भूस्खलन के कारण जिले में कई रास्ते बंद हुए हैं. गंभीर हालातों के बाद कुछ क्षेत्रों में रहने वाले निवासियों के लिए भी खतरा बढ़ गया है. राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एसडीएमए) और राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र (एसईओसी) के अनुसार, 28 जुलाई की शाम तक राज्यभर में 200 सड़कें अवरुद्ध रहीं.
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एसएचके/केआर