भारत की वैश्विक श्रम क्षमता को बढ़ावा देने के लिए कौशल विकास पर सीएसआर खर्च महत्वपूर्ण : रिपोर्ट

New Delhi, 14 जुलाई . वैश्विक मंच पर India की कार्यबल क्षमता को उजागर करने के लिए कौशल विकास पर कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी (सीएसआर) खर्च में सुधार की जरूरत है. यह जानकारी Monday को आई एक रिपोर्ट में दी गई.

रेटिंग एजेंसी क्रिसिल की रिपोर्ट में कहा गया है कि India को कौशल विकास में भारी निवेश की आवश्यकता है, जिससे देश के जनसांख्यिकीय लाभ को प्राप्त करने में मदद मिलेगी.

रिपोर्ट में कहा गया है कि कौशल विकास के लिए निवेश का भार सार्वजनिक और निजी दोनों क्षेत्रों द्वारा मिलकर उठाया जाना चाहिए.

India के पास एक महत्वपूर्ण अवसर है क्योंकि खाड़ी सहयोग परिषद, यूरोप और ऑस्ट्रेलिया जैसी विकसित अर्थव्यवस्थाओं को विशेष रूप से हेल्थकेयर, इंफोर्मेशन एंड कम्युनिकेशन टेक्नोलॉजी, रिन्यूएबल एनर्जी, लॉजिस्टिक्स और कंस्ट्रक्शन जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में कौशल की भारी कमी का सामना करना पड़ रहा है.

India 35 वर्ष से कम की 65 प्रतिशत आबादी वाला देश होने के साथ प्रचुर वर्कफोर्स सप्लाई के साथ वैश्विक श्रम बाजार में मौजूद अंतराल को आसानी से पाट सकता है.

क्रिसिल इंटेलिजेंस के बिनैफर जेहानी ने कहा, “सीएसआर निवेश को अलग-थलग कौशल गतिविधियों से आगे बढ़ना होगा. जब इसे Governmentी पहलों के साथ रणनीतिक रूप से इंटीग्रेट किया जाता है तो सीएसआर में एक सक्षमकर्ता के रूप में कार्य करने की अपार क्षमता होती है, जो India की वैश्विक कार्यबल तत्परता को महत्वपूर्ण रूप से मजबूत करता है.”

रिपोर्ट के अनुसार, Prime Minister कौशल विकास योजना जैसी Governmentी पहलों के साथ, देश में सीएसआर के तहत कौशल विकास पर कुछ ध्यान दिया गया है, फिर भी इसमें सुधार की पर्याप्त गुंजाइश है.

वित्त वर्ष 2015 से कॉर्पोरेट्स द्वारा सीएसआर पर खर्च किए गए 2.22 लाख करोड़ रुपए में से केवल 3.5 प्रतिशत ही कौशल विकास पर खर्च किया गया है.

इसके अलावा, सीएसआर पहल खंडित रही हैं और पारंपरिक या अनौपचारिक व्यवसायों पर केंद्रित रही हैं, जो ग्लोबल एम्प्लॉयमेंट इकोसिस्टम से अलग-थलग हैं. रिपोर्ट एक अधिक सुस्पष्ट, रणनीतिक दृष्टिकोण की आवश्यकता को रेखांकित करती है.

रिपोर्ट मजबूत ट्रेनिंग इंफ्रास्ट्रक्चर, विशेष रूप से स्मार्ट लैब और सिम्युलेटर-आधारित सुविधाओं के लिए सीएसआर समर्थन की पुरजोर वकालत करती है.

इसके अलावा, विभिन्न क्षेत्रों के बीच सहयोग कौशल विकास के लिए मजबूत सिस्टम बना सकता है.

एसकेटी/