इजरायल के लिए जासूसी करने का आरोप, ईरान ने 3 लोगों को दी फांसी

तेहरान, 25 जून . ईरान ने बुधवार को इजरायल की खुफिया एजेंसी ‘मोसाद’ के लिए जासूसी करने के आरोप में तीन लोगों को फांसी दी.

ईरानी न्यायपालिका की वेबसाइट ‘मिजान ऑनलाइन’ के अनुसार, तुर्की की सीमा के पास उत्तर-पश्चिमी शहर उर्मिया में इदरीस अली, आजाद शोजई और रसूल अहमद रसूल को फांसी दी गई है.

न्यायपालिका ने कहा, “इदरीस अली, आजाद शोजई और रसूल अहमद रसूल ने हत्याओं को अंजाम देने के लिए देश में उपकरण आयात करने की कोशिश की थी. इन्हें गिरफ्तार किया गया और उन पर यहूदी शासन को मदद करने का आरोप लगाया गया. बुधवार सुबह सजा सुनाई गई और उन्हें फांसी पर लटका दिया गया.”

यह फांसी अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ईरान पर सैन्य कार्रवाई के बाद युद्ध विराम की घोषणा के ठीक एक दिन बाद हुई है. दोनों पक्ष इस युद्ध विराम पर सहमत हैं.

इजरायल से संघर्ष के दौरान ईरान ने इजरायल के साथ संबंध रखने के आरोप में कम से कम 700 लोगों को गिरफ्तार किया था.

इससे पहले, ईरान ने 14 जून और 23 जून को भी इसी तरह की फांसी दी थी. सोमवार को ‘मोसाद’ के लिए जासूसी करने के दोषी पाए गए एक अन्य व्यक्ति को फांसी दी गई थी.

ईरानी न्यायपालिका ने बताया, “मोहम्मद अमीन महदवी शायस्थे को यहूदी शासन के साथ खुफिया सहयोग के लिए फांसी दी गई.” शायस्थे को 2023 में इजरायल की खुफिया एजेंसी मोसाद से कथित संबंध रखने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था.

इससे पहले 22 जून को माजिद मोसायेबी को भी मोसाद को कथित तौर पर ‘संवेदनशील जानकारी’ देने के आरोप में फांसी दी गई थी.

न्यायपालिका ने कहा था, “माजिद मोसायेबी को फांसी दे दी गई. सुप्रीम कोर्ट ने उसकी सजा की पुष्टि की थी.” आरोप था कि मोसायेबी ने ‘मोसाद को संवेदनशील जानकारी’ देने की कोशिश की थी.

कई रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि 13 जून को तेहरान पर हवाई हमले शुरू होने से बहुत पहले ही इजरायली जासूस हथियारों की तस्करी कर रहे थे.

आरएसजी/एबीएम