ईरान ने की यमन के तेल बंदरगाह पर अमेरिकी हवाई हमलों की कड़ी निंदा

तेहरान, 19 अप्रैल . ईरानी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता एस्माईल बाघेई ने यमन के तेल बंदरगाह रास ईसा पर अमेरिका के घातक हवाई हमलों की कड़ी निंदा की है.

बाघेई ने गुरुवार को यमन के बंदरगाह पर अमेरिकी हवाई हमलों के जवाब में यह टिप्पणी की, जिसमें कम से कम 80 लोग मारे गए.

बाघेई ने कहा कि हमला एक अपराध है और संयुक्त राष्ट्र चार्टर एवं अंतर्राष्ट्रीय कानून के मूल सिद्धांतों और नियमों का घोर उल्लंघन है.”

उन्होंने जोर देकर कहा कि यमन के खिलाफ अमेरिकी “आक्रामकता” कब्जे वाले फिलिस्तीनी क्षेत्रों में “इजरायल के कब्जे और नरसंहार के लिए उसके पूर्ण समर्थन” के साथ जुड़ी हुई है, और इससे क्षेत्र में असुरक्षा बढ़ेगी और अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा को खतरा होगा.

यमन के ईंधन बंदरगाह रास ईसा पर अमेरिकी हवाई हमलों में मरने वालों की संख्या बढ़कर 80 हो गई. वहीं 150 अन्य लोग घायल हुए. यह जानकारी हूती संचालित स्वास्थ्य अधिकारियों ने शनिवार को दी.

हमले गुरुवार रात को हुए. इनमें बंदरगाह और आयातित ईंधन के भंडारण के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले कई टैंकों को निशाना बनाया गया.

समाचार एजेंसी श‍िन्हुआ के अनुसार, हमले में मारे गए और घायलों में बंदरगाह के कर्मचारी हैं, जिनमें पांच पैरामेडिक्स भी शामिल हैं.

रास ईसा बंदरगाह यमन के लाल सागर के पास होदेदाह शहर के उत्तर-पश्चिम में स्थित है. यह हूती ग्रुप के कब्जे वाले क्षेत्रों में ईंधन के आयात का मुख्य स्रोत है.

2014 के अंत में सरकार के खिलाफ गृह युद्ध शुरू करने वाले हूती विद्रोहियों का उत्तरी यमन के बड़े हिस्सों पर नियंत्रण है.

मार्च के मध्य में वाशिंगटन ने हूती ठिकानों पर हमले फिर से शुरू किए थे.

रिपोर्ट के अनुसार, दो अभ‍ियानों के दौरान ईंधन बंदरगाह पर 14 से अधिक हवाई हमले किए गए. इससे आयातित ईंधन को संग्रहीत करने वाले टैंक नष्ट हो गए और बड़े पैमाने पर आग लग गई. रिपोर्ट में कहा गया कि आग को कुछ ही घंटों में बुझा दिया गया.

एससीएच/