सियोल, 15 अप्रैल . मंगलवार को दक्षिण कोरिया और अमेरिका ने मिलकर हवाई युद्धाभ्यास किया, जिसमें अमेरिका का एक बी-1बी बमवर्षक विमान भी शामिल था. यह अभ्यास उत्तर कोरिया की बढ़ती परमाणु और मिसाइल गतिविधियों के विरोध में शक्ति प्रदर्शन के रूप में किया गया.
इस अभ्यास में दक्षिण कोरिया के एफ-35ए और एफ-16 लड़ाकू विमान और अमेरिका के एफ-16 लड़ाकू विमान भी शामिल हुए. मंत्रालय के अनुसार, इस अभ्यास का उद्देश्य यह दिखाना था कि दक्षिण कोरिया और अमेरिका मिलकर उत्तर कोरिया की खतरनाक गतिविधियों का जवाब देने में सक्षम हैं.
यह अभ्यास उत्तर कोरिया के संस्थापक किम ईल-सुंग की 113वीं जयंती के दिन हुआ, जिसे वहां “डे ऑफ सन” कहा जाता है और यह एक बड़ा राष्ट्रीय पर्व है.
दक्षिण कोरिया के मंत्रालय ने कहा, “उत्तर कोरिया की धमकियों को रोकने और उनका जवाब देने के लिए हम अमेरिका के साथ मिलकर ऐसे संयुक्त अभ्यास बढ़ाते रहेंगे और अपनी आपसी साझेदारी को और मजबूत करेंगे.”
योनहाप न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, हालांकि, मंत्रालय ने यह नहीं बताया कि कितने बी-1बी बमवर्षक तैनात किए गए थे या अभ्यास कहां हुआ.
यह इस साल का दूसरा ऐसा संयुक्त अभ्यास था. इससे पहले 20 फरवरी को भी दोनों देशों ने इसी तरह का अभ्यास किया था.
उत्तर कोरिया अकसर इस तरह के अमेरिकी सैन्य अभियानों से नाराज होता रहा है और इन पर तनाव बढ़ाने का आरोप लगाता है. फरवरी वाले अभ्यास के बाद उत्तर कोरिया ने अमेरिका को जवाब देने के लिए “रणनीतिक तरीके” अपनाने की धमकी दी थी.
यह नया अभ्यास उस समय हुआ है जब दक्षिण कोरिया के पूर्व राष्ट्रपति यून सुक-योल को उनके द्वारा दिसंबर में लगाए गए अल्पकालिक मार्शल लॉ के मामले में उनके महाभियोग को बरकरार रखा था.
इसके अलावा, दक्षिण कोरिया और अमेरिका के बीच एक और मुद्दे पर बातचीत चल रही है. अमेरिका के ऊर्जा विभाग ने दक्षिण कोरिया को ‘संवेदनशील और विशेष श्रेणी वाले देशों’ की सूची (एसएलसी) में सबसे निचली श्रेणी में रखा है. अमेरिकी ऊर्जा विभाग का फैसला दोनों देशों के संबंधों में एक बड़ा मुद्दा बन गया है और अब वह अमेरिका से बात करके इस स्थिति को सुलझाने की कोशिश कर रहा है.
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