‘असफलता को आखिरी मंजिल न समझें’, छात्रों को गौतम अदाणी की सलाह

नई दिल्ली, 13 फरवरी . जेईई मेंस परीक्षा में फेल होने पर उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में एक छात्रा के आत्महत्या की घटना को “हृदयविदारक” बताते हुए अदाणी समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी ने गुरुवार को कहा कि जीवन किसी भी परीक्षा से बड़ा है और छात्र असफलता को आखिरी मंजिल न समझें.

अरबपति उद्योगपति ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में लिखा, “अपेक्षाओं के बोझ तले दबकर एक होनहार बेटी का यूं चले जाना हृदयविदारक है. जीवन किसी भी परीक्षा से बड़ा होता है – यह बात अभिभावकों को खुद भी समझनी होगी और बच्चों को भी समझानी होगी.”

उन्होंने इसके साथ एनडीटीवी की एक खबर शेयर की है, जिसमें बताया गया है कि कैसे जेईई मेंस में फेल होने पर 18 साल की लड़की ने दोबारा प्रयास करने की बजाय अपनी जीवनलीला समाप्त कर ली.

गौतम अदाणी ने स्वयं अपना उदाहरण देते हुए बताया है कि वह खुद पढ़ाई में बहुत सामान्य थे और “पढ़ाई एवं जीवन में कई बार असफल भी हुआ, लेकिन हर बार जिंदगी ने नया रास्ता दिखाया.”

उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा है, “मेरी आप सभी से बस इतनी सी विनती है – असफलता को कभी आखिरी मंजिल न समझें. …क्योंकि जिंदगी हमेशा दूसरा मौका देती है…!”

उल्लेखनीय है कि दो साल से जेईई मेंस की तैयारी कर रही 11वीं की छात्रा ने परीक्षा में फेल होने के बाद अपने हॉस्टल के कमरे में फांसी लगा ली. उसने एक सुसाइड नोट भी छोड़ा है, जिसमें अपने माता-पिता से अपनी विफलता और उनके सपने पूरे नहीं कर सकने के लिए माफी मांगी है.

एकेजे/एबीएम