नई दिल्ली, 8 फरवरी . दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजे आ चुके हैं. 27 साल बाद राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार बनने जा रही है. वहीं, आम आदमी पार्टी (आप) को दिल्ली की जनता ने पूरी तरह से चुनाव में नकार दिया. दिल्ली की 70 सीटों में से 48 पर भाजपा ने परचम लहराया. जबकि, ‘आप’ को 22 सीटों से ही संतोष करना पड़ा. इतना ही नहीं दिल्लीवासियों ने पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया तक को चुनाव में हार का मुंह दिखा दिया.
ऐसे में अब दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (आप) की हार के पीछे कई कारण गिनाए जा रहे हैं. इसमें एक फैक्टर ‘आप’ की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल को भी माना जा रहा है.
स्वाति मालीवाल ने केजरीवाल की छवि को सबसे ज्यादा डेंट करने का काम किया है. स्वाति मालीवाल ने कैमरे के साथ दिल्ली के अलग-अलग इलाकों में जाकर राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली की दुर्दशा की पोल खोलने का काम किया.
दरअसल, स्वाति मालीवाल ने विधानसभा चुनाव के बीच लगातार बादली, देवली विकासपुरी समेत अलग-अलग इलाकों पर जाकर ग्राउंड रिपोर्टिंग की. वह सोशल मीडिया पर दिल्ली की बदहाली के वीडियो और तस्वीरें शेयर भी करती रहीं. वह गली-गली जाकर कूड़े के ढेर, मलिन बस्तियों में गंदे टॉयलेट, ओवरफ्लो सीवर, गंदे पानी की सप्लाई को लेकर दिल्ली सरकार के खिलाफ लगातार आवाज उठाती रहीं. यहां तक कि मतदान से ठीक पहले यमुना नदी के मुद्दे पर केजरीवाल और आम आदमी पार्टी की सरकार को कठघरे में खड़ा करने से पीछे नहीं हटी.
एक तरफ अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के तमाम नेता हरियाणा पर यमुना नदी में ‘जहर’ मिलाने के आरोप मढ़ते रहे. दूसरी तरफ स्वाति मालीवाल ने दिल्ली में यमुना नदी के गंदे पानी का मुद्दा उठाया और केजरीवाल पर जोरदार जुबानी हमले भी किए.
राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल ने बेहद सधे हुए तेवर में ‘आप’ सरकार के खिलाफ आवाज उठाई और जनता की परेशानियों को सबके सामने लाकर रख दिया. पूरे चुनाव में स्वाति मालीवाल शहर में फैली गंदगी और घरों में गंदे पानी की सप्लाई की समस्या को ग्राउंड पर जाकर उभारती रहीं और उनके इसी अभियान की तैयार की हुई जमीन पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को अरविंद केजरीवाल के दबदबे को समाप्त करने में थोड़ी मदद मिली.
ऐसे में माना जा रहा है कि 10 साल दिल्ली में शासन करने वाली आम आदमी पार्टी की स्वाति मालीवाल ने ग्राउंड रिपोर्टिंग के जरिए पोल खोल दी.
इसके अलावा स्वाति मालीवाल ने मुख्यमंत्री आवास में केजरीवाल के पूर्व पीए बिभव कुमार पर मारपीट का आरोप भी लगाया. इसके बाद से स्वाति मालीवाल ने अपनी ही आम आदमी पार्टी सरकार और अरविंद केजरीवाल के खिलाफ मोर्चा खोल दिया. उन्होंने खुद पर हुए हमले के बाद कई दलों से सहयोग मांगा. कई चिट्ठियां भी लिखी, लेकिन, किसी दल ने मालीवाल का साथ नहीं दिया. इतना ही नहीं, उन्होंने दिल्ली की जनता के बीच ये भी संदेश देने की कोशिश की कि आम आदमी पार्टी महिला विरोधी है.
चुनाव आने से पहले अरविंद केजरीवाल को शायद इसका अंदाजा हो गया था कि काम न होने की वजह से दिल्ली के लोग नाराज हैं. उन्होंने माना कि वह दिल्ली की जनता को साफ पानी नहीं दे सके. यमुना की गंदगी साफ नहीं करा सके और अच्छी सड़कें नहीं बना सके. हालांकि, केजरीवाल ने चुनाव प्रचार के दौरान वादा किया था कि अगली बार सरकार बनेगी, तो ये सब काम पूरे करेंगे. मगर, दिल्लीवासियों ने केजरीवाल को सरकार बनाने का एक और मौका नहीं दिया.
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एसके/