शिवड़ी, 18 नवंबर . महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के उम्मीदवार बाला नंदगांवकर ने कहा है कि उनकी पार्टी के प्रमुख राज ठाकरे आगामी राज्य विधानसभा चुनावों के परिणामों के बाद किंगमेकर की महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं.
पैर में फ्रैक्चर के कारण व्हीलचेयर पर रहते हुए चुनाव प्रचार करते हुए नंदगांवकर ने कहा कि उन्होंने घर-घर जाकर निर्वाचन क्षेत्र के 70 प्रतिशत हिस्से को कवर किया है.
बाला नांदगांवकर ने कहा कि मैं बालासाहेब ठाकरे का शिवसैनिक हूं और राज ठाकरे का सैनिक हूं. हमारे साथ महायुति के लोग जुड़े हुए है ऐसे में तो मुझे कोई दिक्कत नहीं आएगी. चोट लगने के चलते में डोर टू डोर नहीं जा पा रहा हुं. हमारी बेटी सृष्टि घर-घर जाकर लोगों से संपर्क कर रही हैं, जबकि हम नीचे की मंजिलों से स्पीकर का उपयोग करके मतदाताओं से वोट देने की अपील कर रहे हैं. लोगों को बदलाव चाहिए, मेरा कोई भी उम्मीदवार सामने हो उसे कमजोर नहीं समझना चाहिए, उसे हमेशा मजबूत समझ कर लड़ना चाहिए.
उन्होंने आगे कहा कि महाराष्ट्र में महायुति की सरकार बनेगी. लोकसभा में भी इंडिया ब्लॉक के लोगो ने फेक नैरेटिव सेट किया था लेकिन उसके बाद भी देश में मोदी सरकार बनी, लोकसभा चुनाव में नंबर कम आए लेकिन सरकार तो मोदी जी की बनी है. लोकसभा चुनाव में करारी हार के बाद इंडी एलायंस के नेताओं ने हर राज्यों में ये फेक नैरेटिव सेट करने की कोशिश की, लेकिन जनता ने उन्हें खारिज कर दिया. महाराष्ट्र सरकार और केंद्र सरकार की योजनाओं का लाभ प्रदेश की जनता को मिला है. ऐसे में राज्य में जनता महायुति की सरकार बनाने जा रही है.
मुस्लिम संगठनों की ओर से महाविकास अघाड़ी के उम्मीदवारों को समर्थन देने के सवाल पर बाला नांदगांवकर ने कहा हिंदू लोगों को जागना चाहिए, वर्ना दिक्कत होगी.
नंदगांवकर ने प्रतिष्ठा तब अर्जित की थी, जब उन्होंने 1995 में यहां मझगांव विधानसभा सीट से शिवसेना उम्मीदवार के रूप में पहली बार चुनाव लड़ते हुए राजनीतिक दिग्गज छगन भुजबल को हराया था. वह अपना छठा विधानसभा चुनाव और शिवड़ी से तीसरा चुनाव लड़ रहे हैं, जहां से उन्होंने 2009 में चुनाव लड़ा था लेकिन 2014 में हार गए थे.
चार बार विधायक रह चुके नंदगांवकर का मुकाबला शिवसेना (यूबीटी) के उम्मीदवार और मौजूदा विधायक अजय चौधरी से है, जो तीसरी बार चुनाव लड़ रहे हैं. चौधरी ने 2014 के विधानसभा चुनाव में नंदगांवकर को हराया था.
शिवड़ी विधानसभा क्षेत्र पारंपरिक रूप से मराठी गढ़ है. यहां पर उत्तर भारतीय, गुजराती-मारवाड़ी के साथ विधानसभा क्षेत्र के कुछ इलाकों में मुस्लिम आबादी भी है. ऐसे में इस सीट पर चुनावी लड़ाई दिलचस्प हो गई है.
ज्ञात हो कि महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन के लिए कुल 288 विधानसभा सीटों पर एक चरण में वोट डाले जाएंगे. सभी सीटों पर 20 नवंबर को वोटिंग होगी और 23 नवंबर को नतीजे घोषित किए जाएंगे.
–
एकेएस/एएस