नई दिल्ली, 30 सितंबर . एक रिपोर्ट में यह बात सामने आई है कि हेल्थ सेक्टर में बीमारियों का पता लगाने, दवाओं की डिलीवरी और मेडिकल इमेजिंग के लिए नैनोटेक्नोलॉजी का उपयोग बढ़ रहा है.
नैनो टेक्नोलॉजी प्रौद्योगिकी क्षेत्र में इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों में सुधार कर रही है, जिससे उन्नत कंप्यूटिंग की दिशा में आगे बढ़ने में मदद मिल रही है.
नैनो तकनीक कई उद्योगों को बदल सकती है. इसमें टिकाऊ सामग्री, पर्यावरण सुधार, फास्ट इलेक्ट्रॉनिक्स और नए उपचार शामिल हैं. ग्लोबलडेटा की रिपोर्ट ने दिखाया कि स्वास्थ्य और प्रौद्योगिकी क्षेत्र इनोवेशन में सबसे आगे हैं.
ग्लोबलडाटा में थीमैटिक इंटेलिजेंस की प्रमुख विश्लेषक इसाबेल अल-दाहिर ने कहा, “नैनो टेक्नोलॉजी का व्यापारिक उपयोग विभिन्न क्षेत्रों में अलग-अलग है. यह कई कारकों पर निर्भर करता है. पहला कारक है प्रत्येक क्षेत्र में अनुसंधान और विकास के लिए कितना निवेश होता है. प्रौद्योगिकी और स्वास्थ्य जैसे उद्योगों ने अधिक निवेश के कारण तेजी से व्यापारिक उपयोग देखा है.”
उन्होंने आगे कहा, “नैनो टेक्नोलॉजी उत्पादों को बाजार में लाने से जुड़ी जटिलताएं और नियामकीय बाधाएं, साथ ही खाद्य और उपभोक्ता वस्तुओं में नैनो टेक्नोलॉजी उत्पादों के बारे में उपभोक्ताओं की मिली-जुली धारणा भी व्यापारिक उपयोग की दर को प्रभावित कर सकती है.”
नैनोटेक्नोलॉजी जैसी एडवांस्ड टेक्नोलॉजी को बाजार में लाने के लिए नियामक मंजूरी (नियमों और दिशा-निर्देशों की एक प्रणाली) जरूरी है.
अल-दाहिर ने कहा, ” नैनोटेक्नोलॉजी में तकनीकी बहुत तेजी से आगे बढ़ रही है. इसने नियामक ढांचों के विकास को पीछे छोड़ दिया है.”
इसके अलावा रिपोर्ट में यह बात भी सामने आई है कि नैनो टेक्नोलॉजी के संभावित जोखिमों और लाभों पर अभी और शोध किए जा रहे हैं, क्योंकि इससे नियामकों के लिए पर्याप्त वैज्ञानिक साक्ष्य के बिना उचित दिशा-निर्देश निर्धारित करना अधिक चुनौतीपूर्ण हो जाता है.
चुनौतियों के बावजूद भी अमेरिका, चीन और यूरोपीय संघ के कुछ देश वैश्विक बाजार में बढ़त हासिल करने के लिए नैनो टेक्नोलॉजी में भारी निवेश कर रहे हैं.
नैनो टेक्नोलॉजी में भारी निवेश करने वाले देशों का मानना है कि यह आर्थिक विकास को बढ़ावा दे सकती है और साथ ही महत्वपूर्ण सामाजिक चुनौतियों का भी समाधान कर सकती है.
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एमकेएस/एएस