मध्य प्रदेश में छिंदवाड़ा मॉडल की फिर चर्चा

भोपाल, 30 अगस्त . मध्य प्रदेश में एक बार फिर छिंदवाड़ा मॉडल चर्चा में है. राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कमलनाथ ने मुख्यमंत्री मोहन यादव से छिंदवाड़ा मॉडल से सीख लेने की अपील की है.

छिंदवाड़ा पूर्व केंद्रीय मंत्री कमलनाथ का राजनीतिक गढ़ रहा है. इस इलाके में हुए विकास कार्यों की चर्चा चुनावी मंचों से लेकर अन्य स्थानों पर खूब हुई है. वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में तो छिंदवाड़ा मॉडल को पूरे राज्य में लागू किए जाने का वादा कांग्रेस की ओर से किया गया. एक बार फिर छिंदवाड़ा मॉडल चर्चा में है.

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा है कि प्रदेश के युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ करने में मध्य प्रदेश सरकार कोई कसर नहीं छोड़ रही है. राजधानी भोपाल में साल भर पहले 1,540 करोड़ रुपये की लागत से बने आधे-अधूरे ग्लोबल स्किल पार्क का उद्घाटन तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कर दिया था, लेकिन ग्लोबल स्किल पार्क में न तो कोई लैब है और न हॉस्टल. नतीजा यह है कि यहां क्षमता से बहुत कम संख्या में छात्र दाखिला ले रहे हैं.

छिंदवाड़ा के स्किल डेवलपमेंट पार्क की चर्चा करते हुए कमलनाथ ने कहा कि मुख्यमंत्री यादव छिंदवाड़ा में शुरू किए गए विभिन्न स्किल डेवलपमेंट सेंटर्स को भली-भांति देख लें. स्किल डेवलपमेंट की कामयाबी के लिए सबसे ज्यादा जरूरी होता है, सही ट्रेनिंग और ट्रेनिंग के बाद प्लेसमेंट. छिंदवाड़ा के स्किल डेवलपमेंट सेंटर्स से पिछले कई साल में हजारों छात्रों ने ट्रेनिंग प्राप्त की और अब नौकरी कर रहे हैं.

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आगे कहा, “अगर मुख्यमंत्री यादव छिंदवाड़ा मॉडल को समझने की कोशिश करेंगे और इसे पूरे प्रदेश में अपनाएंगे तो नौजवानों का भला होगा. प्रदेश में 30 लाख से अधिक पंजीकृत बेरोजगार हैं, इनको सम्मानजनक रोजगार दिलाने में स्किल डेवलपमेंट बहुत कारगर हो सकता है, लेकिन इसके लिये सरकार को अपने अनस्किल्ड तरीके छोड़ने होंगे.”

एसएनपी/एकेजे