सहारनपुर, 11 जुलाई . सहारनपुर पुलिस ने पश्चिम बंगाल के आठ ठगों को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार आरोपियों ने मेरठ के एक व्यापारी से 10 लाख रुपए की ठगी की थी. उन्होंने मुजफ्फरनगर के एक व्यापारी के साथ पांच लाख रुपये की ठगी की थी. पुलिस ने आरोपियों के पास से 577 नकली सोने के सिक्के बरामद किए.
पुलिस ने मामले का खुलासा करते हुए बताया कि सभी आरोपी खुदाई से निकले सोने का सिक्का बताकर व्यापारियों के साथ ठगी करते थे. पश्चिम बंगाल में बैठा ठग फोन पर व्यापारियों से बात कर डील फाइनल करता था.
मामला थाना जनकपुरी का है. पुलिस लाइन सभागार में एसपी सिटी अभिमन्यु मांगलिक ने बताया कि मेरठ के रहने वाले संजय सैनी ने सहारनपुर के थाना जनकपुरी में ठगी की एक रिपोर्ट दर्ज कराई थी. उन्होंने बताया था कि कुछ अज्ञात ठगों ने उन्हें सोने के असली सिक्के बताकर नकली सिक्के दे दिए, इसकी एवज में उनसे 10 लाख रुपये भी लिए. इसके अलावा एक और एफआईआर दर्ज कराई गई थी. इसमें पांच लाख रुपये की ठगी बताई गई है.
एसपी सिटी अभिमन्यु के अनुसार, पुलिस ने व्यापारी की शिकायत के बाद आरोपियों के खिलाफ जाल बिछाया. इसके बाद पश्चिम बंगाल के रहने वाले आरोपी मृत्युंजल, सोमनाथ दत्त, किरन मिद्धा, शेख रफीकुल इस्लाम, इस्माइल शेख उर्फ सागर, सौरभ सैनी, राकेश सैनी, शेख खैरुल को गिरफ्तार कर लिया. पकड़े गए आरोपियों में दो सहारनपुर के रहने वाले हैं. पुलिस ने आरोपियों को सहारनपुर के खुर्द गांव से गिरफ्तार किया है.
पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि पश्चिम बंगाल में बैठा आरोपियों का एक साथी फोन पर खुदाई में सोने के सिक्के मिलने के बात करके व्यापारियों को फंसाता था. जब व्यापारी से पॉजिटिव रिस्पॉन्स मिलता था, तो वे सहारनपुर में रहने वाले अपने साथियों को व्यापारियों के पास भेज देते थे. पहले तो ठग सैंपल के तौर पर व्यापारी को एक असली सिक्का देता था, इसके बाद बाकी के सिक्कों की डील फाइनल होती थी और पैसों का लेनदेन किया जाता था.
आरोपियों ने बताया कि वो अपना काम इतनी सफाई से करते थे कि उन्हें आज तक पुलिस भी नहीं पकड़ पाई. आरोपी सहारनपुर में सौरभ और राकेश के घर पर ठहरते थे. सौरभ और राकेश भी व्यापारियों को सिक्के बेचने में उनकी मदद करते थे. आरोपियों ने खुलासा किया कि मेरठ के एक और व्यापारी को ठगना था, लेकिन उससे पहले ही पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया.
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