बेंगलुरु, 25 मार्च 25 मार्च को जब पूरा भारत होली के रंगों में डूबा हुआ था तब विराट कोहली ने भी रनो की होली खेली. चिन्नास्वामी स्टेडियम में पंजाब किंग्स के ख़िलाफ़ कोहली ने लक्ष्य का पीछा करते हुए एक और मैच में अपनी टीम को शानदार जीत दिलाई. लक्ष्य का पीछा करते हुए कोहली अलग ही रंग में दिखते हैं और ऐसा ही इस मैच में भी हुआ. भले ही कोहली उस वक्त मैदान में नहीं थे जब उनकी टीम जीती, लेकिन आउट होने से पहले ही वह अपनी टीम को अच्छी स्थिति में पहुंचा चुके थे. कोहली ने 49 गेंदों में 77 रनों की पारी खेली जिसमें 11 चौके और दो छक्के शामिल रहे.
मैच ख़त्म होने के बाद प्रेंज़ेटेशन सेरेमनी में कोहली ने कई चीज़ों पर खुलकर बात भी की. आरसीबी फ़ैंस से कोहली को बहुत प्यार मिलता है और ख़ास तौर से बेंगलुरू में उनके चाहने वाले बहुत हैं. पहले सीज़न से ही इसी फ़्रैंचाइज़ी के लिए खेल रहे कोहली ने फ़ैंस से मिलने वाले प्यार पर भी बात की. उन्होंने कहा, “वर्षों से यह चलता आ रहा है और जब आप कोई मैच खेलते हैं तो लोग कई तरह की बातें करते हैं. उपलब्धियां, आंकड़े और नंबर्स. जब आप पीछे मुड़कर देखेंगे तो आप आंकड़े या नंबर्स के बारे में नहीं सोचेंगे. आप उन यादों के बारे में सोचेंगे जो आप बनाएंगे. राहुल भाई भी ड्रेसिंग रूम में आजकल यही बात करते हैं. जब आप खेलते हैं तो अपना सबकुछ लगा देते हैं क्योंकि आप ड्रेसिंग रूम में दोस्तों के साथ होना और फ़ैंस के साथ खेलना मिस करेंगे.”
“तो यह जो रिश्ता इतने सालों से बन चुका है यह वो चीज़ है जिसे मैं कभी भूल नहीं पाउंगा. जितना प्यार, प्रोत्साहन और समर्थन मुझे सालों से मिलता आ रहा है यह शानदार है.”
प्लेयर ऑफ़ द मैच बनने के बाद कोहली ने कहा, “मैं निराश था कि मैं मैच ख़त्म नहीं कर सका. गेंद मेरे पाले में थी. हालांकि, दो महीने के बाद खेलते हुए इस तरह टूर्नामेंट में लौटना ख़राब शुरुआत नहीं है. टी20 क्रिकेट में जैसे कि मैं यहां ओपनिंग कर रहा हूं तो मैं टीम को आतिशी शुरुआत दिलाना चाहता हूं. हालांकि, दूसरे छोर से अगर विकेट गिरता है तो आपको परिस्थितियों को भी समझना होता है. यह बेंगलुरू का स्वाभाविक विकेट नहीं था. इसमें दोहरा उछाल था. मैंने सोचा कि मुझे अच्छे क्रिकेटिंग शॉट्स खेलने हैं. एक्रॉस लाइन खेलना अच्छे से काम नहीं कर रहा था क्योंकि मैंने थोड़ा सा आज़माया था.”
कोहली ने कगिसो रबाडा और अर्शदीप सिंह के ख़िलाफ़ लॉफ़्टेड कवर ड्राइव लगाए थे. आम तौर पर कोहली के कवर ड्राइव को दुनिया के सबसे बेस्ट में से एक माना जाता है, लेकिन लॉफ़्टेड कवर ड्राइव इतनी आसानी से खेलकर उन्होंने अपनी बल्लेबाज़ी में एक और बड़ा बदलाव दिखाया है. इस बारे में उन्होंने कहा, “उन्हें पता था कि मैं कवर ड्राइव अच्छा खेलता हूं तो वे मुझे गैप में खेलने की आज़ादी नहीं देने वाले थे. रबाडा या अर्शदीप जैसे लोग जिनकी लंबाई अच्छी है और वे गुड लेंथ को हिट कर रहे हैं तो आपको गेंद की ओर थोड़ा मोमेंटम बनाना होता है. जैसे ही आप गेंद के क़रीब होते हैं तो आप उछाल को संभाल सकते हैं, आप गेंद से जल्दी मिल पाते हैं.”
“आपको हमेशा एक प्लान के साथ आना होता है और हमेशा अपने खेल में सुधार लाने की कोशिश करनी होती है. मुझे पता है कि फ़िलहाल विश्व के कई हिस्सों में मेरा नाम टी20 क्रिकेट में केवल खेल को बढ़ावा देने के लिए लिया जाता है, लेकिन शायद अब भी मेरे अंदर दम बचा है.”
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आरआर/