हैदराबाद, 7 फरवरी . लोकसभा चुनाव से पहले तेलंगाना में भाजपा को झटका देते हुए पूर्व मंत्री और अभिनेता पी. बाबू मोहन ने बुधवार को पार्टी से इस्तीफा दे दिया.
उन्होंने मीडियाकर्मियों से कहा कि उन्हें पार्टी में दरकिनार किया जा रहा है. उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य भाजपा प्रमुख जी. किशन रेड्डी उनकी कॉल का जवाब नहीं दे रहे हैं.
उन्होंने खुलासा किया कि वह वारंगल निर्वाचन क्षेत्र से लोकसभा के लिए चुनाव लड़ना चाहते हैं, लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि वह किस पार्टी में शामिल होंगे.
चूंकि बाबू मोहन के बेटे हाल ही में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) में शामिल हुए हैं, इसलिए उनकी भी इसी पार्टी में शामिल होने की संभावना है.
अभिनेता ने पहले विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा छोड़ने की धमकी दी थी, लेकिन पार्टी ने एंडोले से एक बार फिर टिकट देकर उन्हें शांत करने की कोशिश की.हालांकि, वह बुरी तरह चुनाव हार गए. उन्हें केवल 5,524 वोट मिले.
2018 में पूर्व मंत्री बाबू मोहन ने विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए टिकट से इनकार किए जाने के बाद टीआरएस (अब बीआरएस) छोड़ दिया था.
भगवा पार्टी ने उन्हें संगारेड्डी में एंडोले निर्वाचन क्षेत्र से मैदान में उतारा, लेकिन उन्हें अपमानजनक हार का सामना करना पड़ा, और केवल 2,404 वोटों के साथ तीसरे स्थान पर रहे.
2014 में बाबू मोहन एंडोले से टीआरएस के टिकट पर चुने गए थे.
तेलुगू फिल्मों में कॉमेडी भूमिकाओं के लिए जाने जाने वाले अनुभवी अभिनेता ने 1990 के दशक में तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) में शामिल होकर राजनीति में प्रवेश किया.
वह पहली बार 1998 के उप-चुनाव में एंडोले से चुने गए और 1999 में सीट बरकरार रखी.
उन्होंने तत्कालीन एकीकृत आंध्र प्रदेश में चंद्रबाबू नायडू के मंत्रिमंडल में श्रम मंत्री के रूप में कार्य किया.
वह 2004 और 2009 में एक ही निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव हार गए. 2014 में उन्होंने टीआरएस में शामिल होने के लिए तेदेपा छोड़ दी थी.
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