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गौतमबुद्ध नगर, 26 नवंबर . कमिश्नरेट गौतमबुद्धनगर Police ने नशे के अवैध कारोबार के खिलाफ पिछले तीन वर्षों में व्यापक, सुनियोजित और कठोर अभियान चलाते हुए अपराधियों के नेटवर्क पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित किया है.
Police कमिश्नर लक्ष्मी सिंह के नेतृत्व में नशे के विरुद्ध जीरो टॉलरेंस नीति अपनाते हुए वर्षों 2023, 2024 और 2025 की अवधि में कुल 6,865.793 किलोग्राम गांजा एवं अन्य मादक पदार्थ बरामद किए गए, जिनकी बाजार में कीमत लगभग 1 अरब 46 करोड़ 70 लाख रुपए आंकी गई है. यह कार्रवाई गौतमबुद्धनगर कमिश्नरेट में नशे के कारोबार के खिलाफ अब तक की सबसे बड़ी सफलता मानी जा रही है.
1 जनवरी 2023 से 31 दिसंबर 2023 के बीच 585 अभियोग पंजीकृत, 667 आरोपी चिन्हित किए गए, जिनमें से 660 को गिरफ्तार किया गया, जबकि शेष के विरुद्ध वारंट, कुर्की तथा अन्य वैधानिक कार्रवाइयां की गईं. इस दौरान 2,777.457 किलोग्राम मादक पदार्थ पकड़े गए, जिनकी कीमत 93 करोड़ 50 लाख रुपए रही. तस्करी में प्रयुक्त वाहनों को भी जब्त किया गया. दो आरोपियों पर रासुका और अवैध संपत्ति जब्तीकरण की कार्रवाई भी की गई.
वर्ष 2024 में Police ने 502 अभियोग दर्ज किए और 578 आरोपियों की पहचान की. इनमें से 571 को गिरफ्तार किया गया, जबकि बाकी के खिलाफ कानूनी दबिश जारी रही. कार्रवाई के दौरान 2,791.075 किलोग्राम नशीले पदार्थ की बरामदगी हुई, जिसकी कीमत 40 करोड़ 70 लाख रुपए आंकी गई. 80 व्यक्तियों की हिस्ट्रीशीट खोली गई, जबकि रासुका, पीआईटी-एनडीपीएस और गैंगस्टर अधिनियम सहित कड़े कानून लागू किए गए. सभी 578 मामलों में एनडीपीएस एक्ट की धारा 52(ए) का पूर्ण अनुपालन किया गया.
वर्ष 2025 में 20 नवंबर तक 458 केस दर्ज किए गए और 515 आरोपियों की पहचान हुई, जिनमें दो आरोपी प्रकाश में आए. Police ने विशेष अभियान चलाकर सभी 517 आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. कार्रवाई के दौरान 1,297.261 किलोग्राम मादक पदार्थ बरामद हुए, जिनका मूल्य 12 करोड़ 50 लाख रुपए रहा. तस्करी में प्रयोग होने वाले वाहन भी जब्त किए गए.
कमिश्नरेट गौतमबुद्धनगर Police के अनुसार, नशे के खिलाफ इस निरंतर अभियान ने न केवल तस्करी के नेटवर्क को ध्वस्त किया है, बल्कि युवा वर्ग को नशे की गिरफ्त से बचाने में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया है. Police कमिश्नर लक्ष्मी सिंह ने स्पष्ट किया है कि नशीले पदार्थों के अवैध व्यापार के प्रति किसी भी प्रकार की ढिलाई नहीं बरती जाएगी और भविष्य में भी इससे जुड़े अपराधियों के विरुद्ध और अधिक कठोर कार्रवाई जारी रहेगी.
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पीकेटी/एबीएम