भुवनेश्वर, 10 सितंबर . ओडिशा के मयूरभंज जिले की एक अदालत ने Wednesday को जिले के एक कॉलेज के लेक्चरर को नाबालिग छात्रा का यौन शोषण करने और पीड़िता की आपत्तिजनक तस्वीरें एवं वीडियो social media प्लेटफॉर्म पर वायरल करने के आरोप में 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई.
दोषी की पहचान मानस रंजन बारिक के रूप में हुई है और वह मयूरभंज जिले के रसगोबिंदपुर इलाके का निवासी है. मिली जानकारी के मुताबिक, आरोपी लेक्चरर स्वर्ण पदक विजेता है और वह उस कॉलेज में कार्यरत था, जहां पीड़िता 2022 में प्लस टू साइंस स्ट्रीम में पढ़ रही थी.
पीड़िता ने 29 मार्च, 2022 को बारीपदा टाउन पुलिस स्टेशन में दर्ज कराई अपनी शिकायत में आरोप लगाया कि आरोपी ने शादी का झूठा वादा करके पीड़िता के साथ कई बार जबरदस्ती शारीरिक संबंध बनाए.
इस बीच, आरोपी ने पीड़िता की आपत्तिजनक तस्वीरें और वीडियो अपने मोबाइल फोन में कैद कर लिए.
पीड़िता ने यह भी बताया कि जब बारिक ने पहले social media पर उसके आपत्तिजनक वीडियो और तस्वीरें प्रसारित की थीं तो हमारे और आरोपी लेक्चरर के परिवार के लोग मिले और एक समझौता हुआ, जिसके तहत आरोपी अपने मोबाइल फोन से पीड़िता की आपत्तिजनक तस्वीरें और वीडियो हटाने पर सहमत हो गया.
हालांकि, तस्वीरों को हटाने के बजाय उसने इसे social media पर फिर से प्रसारित कर दिया, जिससे पीड़िता ने उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की.
उसकी शिकायत के आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज किया और 30 मार्च, 2022 को आरोपी लेक्चरर को गिरफ्तार कर लिया.
अदालत ने सात गवाहों के बयान, 25 साक्ष्यों और पुलिस द्वारा प्रस्तुत जांच रिपोर्ट सुनने के बाद Wednesday को आरोपी बारिक को दोषी करार देते हुए फैसला सुनाया.
अदालत ने मयूरभंज जिले के जिला विधिक सेवा प्राधिकरण (डीएलएसए) को पीड़िता को मुआवजे के तौर पर एक लाख रुपए देने का भी निर्देश दिया है.
इसी तरह की एक अन्य घटना में जाजपुर जिले की एक स्थानीय अदालत ने Wednesday को एक व्यक्ति को जिले के कुआखाई इलाके में पिछले साल शादी के बहाने एक नाबालिग लड़की का यौन शोषण करने के लिए 30 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई.
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एकेएस/डीकेपी