Bengaluru, 2 सितंबर . कर्नाटक के उपChief Minister और राज्य कांग्रेस अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार के करीबी सहयोगी विधायक एच.सी. बालकृष्ण ने दावा किया है कि बर्खास्त मंत्री के.एन. राजन्ना भाजपा के संपर्क में थे.
यह घटना ऐसे समय में हुई है जब राजन्ना के समर्थक कांग्रेस आलाकमान का ध्यान आकर्षित करने के लिए उनकी बर्खास्तगी के खिलाफ दिल्ली में विरोध प्रदर्शन की तैयारी कर रहे हैं.
राजन्ना Chief Minister सिद्धारमैया के कट्टर समर्थक हैं और विधायक एच.सी. बालकृष्ण को उपChief Minister और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार का करीबी माना जाता है.
रामनगर शहर में Tuesday को पत्रकारों से बात करते हुए, बालकृष्ण ने कहा, “राजन्ना पहले ही पार्टी से बाहर कदम रख चुके हैं. अगर उनकी ब्रेन मैपिंग की जाए, तो सच्चाई सामने आ जाएगी. यह उजागर हो जाएगा कि वह किसके संपर्क में हैं. भाजपा नेता राजन्ना का स्वागत कर रहे हैं. यह सौ फीसदी सच है. उन्होंने पहले ही बातचीत शुरू कर दी है.”
उन्होंने दोहराया, “राजन्ना कांग्रेस पार्टी में सिर्फ इसलिए हैं क्योंकि हम सत्ता में हैं. वरना, वह बहुत पहले ही पार्टी छोड़ चुके होते. वह पहले ही पार्टी छोड़ चुके हैं – यही सच्चाई है.”
बालकृष्ण ने आगे कहा, “राजन्ना विभिन्न नेताओं के संपर्क में हैं और उन्होंने खुद कहा है कि उन्हें किसी राजनीतिक दल के समर्थन की जरूरत नहीं है. कुछ समय इंतजार कीजिए, सब कुछ साफ हो जाएगा.”
राजन्ना के इस्तीफे के पीछे किसी साजिश के आरोपों को खारिज करते हुए उन्होंने कहा, “किसी ने उनके खिलाफ साजिश नहीं रची. जब वह मंत्री थे, तो सबको पता था कि उनका आचरण कैसा था और उन्होंने किस तरह के बयान दिए थे. उन्हें उनकी गैर-जिम्मेदाराना टिप्पणियों के कारण बर्खास्त किया गया था, किसी के हस्तक्षेप के कारण नहीं. अब वह किसी दूसरी पार्टी में शामिल होने की कोशिश कर रहे हैं. उन्होंने पहले ही भाजपा में शामिल होने को तैयार हैं और अब हम पर और हमारे नेता पर दोष मढ़ने की कोशिश कर रहे हैं.”
बालकृष्ण ने कहा, “इसमें हमारे नेता (उपChief Minister शिवकुमार) की कोई साजिश नहीं है. राजन्ना की टिप्पणी के बाद आलाकमान ने हस्तक्षेप किया और इसीलिए उन्हें बर्खास्त किया गया. पार्टी छोड़ने का बहाना ढूंढने के लिए, वह अब साजिश की बात कर रहे हैं.”
उन्होंने आगे कहा, “उन्हें राजन्ना के पक्ष में दिल्ली में एक सम्मेलन करने दीजिए. हम इसे रोक नहीं सकते.”
इस बीच, राजन्ना के समर्थक उन्हें मंत्रिमंडल में बहाल करने की मांग को लेकर दिल्ली में एक रैली की तैयारी कर रहे हैं. लगभग 10,000 लोगों को जंतर-मंतर ले जाने की व्यवस्था की जा रही है, और सूत्रों ने बताया है कि ट्रेनों की बुकिंग पहले ही हो चुकी है. अनुसूचित जनजाति (एसटी) समुदाय के साधु-संतों के भी इस विरोध प्रदर्शन में शामिल होने की संभावना है, और वे दिल्ली में भूख हड़ताल की योजना बना रहे हैं.
इस घटनाक्रम से राज्य कांग्रेस इकाई में अंदरूनी कलह और बढ़ने की आशंका है.
राजन्ना ने अपनी ओर से कहा कि उन्हें केवल वोटर फ्रॉड मुद्दे पर आलाकमान के खिलाफ बयान देने के कारण नहीं हटाया गया है. उन्होंने परोक्ष रूप से उपChief Minister शिवकुमार पर निशाना साधते हुए कहा, “राज्य में तीन उपChief Minister पद बनाने की योजना और हनी ट्रैप मामले पर टिप्पणियों के कारण भी मुझे हटाया गया.”
राजन्ना ने कहा, “सच्चाई अंततः सामने आ ही जाएगी. कुछ लोग सोचते हैं कि वे कुछ भी कह सकते हैं और बच निकल सकते हैं. सत्ता, एक बार छिन जाने के बाद, हमेशा वापस आ सकती है.”
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केआर/