वडोदरा, 27 अगस्त . देशभर में गणेश चतुर्थी को लेकर लोगों में उत्साह देखा जा रहा है. गुजरात में इसका अलग रंग ही देखने को मिल रहा है. जहां एक ओर वडोदरा के राजवी परिवार ने अपनी वर्षों पुरानी मूर्ति स्थापित करने की परंपरा को इस साल भी कायम रखा. दूसरी तरफ Ahmedabad में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ थीम पर गणेश जी की मूर्ति स्थापित की गई.
गुजरात के वडोदरा के राजवी परिवार ने गणेश चतुर्थी पर अपनी 1939 से चली आ रही परंपरा को कायम रखते हुए धूमधाम से गणेश जी की स्वागत यात्रा निकाली. भावनगर की पवित्र मिट्टी से निर्मित गणेश प्रतिमा को मूर्तिकार के कारखाने से पालकी में विराजमान कर राज मार्ग से लक्ष्मी विलास पैलेस के दरबार हॉल लाया गया.
यहां गणेश जी का आभूषणों से भव्य श्रृंगार किया गया, और उनकी विधिवत स्थापना हुई. अगले दस दिनों तक गणेश जी पैलेस में विराजमान रहेंगे, जहां वडोदरा के महाराजा समरजीत सिंह गायकवाड़ सुबह-शाम उनकी पूजा-अर्चना और आरती करेंगे. दसवें दिन पैलेस परिसर के तालाब में इको-फ्रेंडली तरीके से विसर्जन होगा. वडोदरा के श्रद्धालु निर्धारित समय पर दर्शन कर सकेंगे.
राजपुरोहित ऋषिकेश गोडसे ने से कहा, “इस साल भी राजवी परिवार के यहां गणेश जी विराजमान हुए हैं. ये परंपरा सालों से चली आ रही है. हर शाम शयन आरती होगी. दस दिनों तक भगवान के अलग-अलग रूपों की पूजा की जाएगी.”
मूर्तिकार लाल सिंह राव चव्हाण ने बताया, “हमारे पिताजी भी मूर्ति बनाने का काम करते थे. मूर्ति निर्माण में हमारी तीसरी पीढ़ी जुटी है. खास बात यह है कि भगवान की मूर्ति की मिट्टी भावनगर से आती है. अक्षय तृतीया के दिन से मूर्ति बनाने की शुरुआत होती है.”
दूसरी ओर, Ahmedabad के नरोदा विधानसभा क्षेत्र में कोबेश्वर मंदिर में गणेश चतुर्थी का उत्सव अनूठे अंदाज में मनाया जा रहा है. मंदिर में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ थीम पर आधारित पंडाल सजाया गया है, जिसमें गणेश जी की मूर्ति को देशभक्ति से प्रेरित स्वरूप में स्थापित किया गया है.
पूजन और आरती के बाद, डीजे की धुनों पर भक्त मूर्ति को भव्य जुलूस के साथ मंदिर के स्थायी पंडाल में ले गए. इस दौरान सड़कों पर श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ी.
संयोजक विट्ठल पाटिल ने बताया, “हम लोग महाराष्ट्र और Madhya Pradesh से हर साल अलग-अलग प्रकार से गणेश जी की मूर्ति लाकर स्थापित करते हैं. यहां पर बहुत से दर्शनार्थी आते हैं. खास बात यह है कि 10 दिन 24 घंटे गणेश जी के दर्शन होते हैं. इस बार हमने भारतीय सेना के शौर्य को प्रदर्शित करते हुए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ थीम पर गणेश जी की स्थापना की है.”
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एससीएच/एबीएम